बीआरए बिहार विश्वविद्यालय के पीजी में एडमिशन के लिए इतिहास विषय में सबसे अधिक आवेदन आए हैं, लेकिन कट ऑफ के मामले में मैथ व फिजिक्सा सबसे अधिक होगा। छात्रों को आये आवेदनों में स्नातक के अंकों को देखते हुए इन दोनों विषय का कटऑफ 75 फीसदी के ऊपर जा सकता है। इसके बाद कॉमर्स व इतिहास के छात्रों के बीच मारामारी होगी।
पीजी में दाखिले के लिए 16 हजार से अधिक छात्रों के आवेदन आए हैं। फॉर्म भरने के लिए दूसरी बार पोर्टल खोला गया तो पांच सौ से अधिक छात्रों के आवेदन आए। वहीं, पहली बार में 15 हजार छह सौ छात्र-छात्राओं के आवेदन आये थे।
विवि की ओर से 15 जून तक पीजी में एडमिशन के लिए आवेदन करने की तिथि है। 20 जून को विवि की ओर से मेरिट लिस्ट जारी कर दी जाएगी। हालांकि, एडमिशन की प्रक्रिया को लेकर विवि विचार कर रहा है।
कोरोना संक्रमण को देखते हुए मेरिट लिस्ट जारी होने के बाद 10 दिन का समय एडमिशन के लिए दिया जाएगा। पीजी विभाग व कॉलेजों को निर्देश दिया जाएगा कि एडमिशन के दौरान भीड़ न जुटे। एडमिशन के लिए प्रतिदिन के हिसाब से छात्रों की संख्या पहले से तय कर दी जाएगी। ताकि, बारी बारी से छात्र एडमिशन के लिए कॉलेज या पीजी विभाग पहुंचे।
इधर बताया जा रहा है। कि दूसरे बार शुरू हुए आवेदन में इतिहास के लिए छात्रों की संख्या और बढ़ी है। यह आंकड़ा 2200 के ऊपर चला गया। तमाम विषयों में यह सबसे अधिक है। स्नातक में इन छात्रों को आये अंक को देखते हुए 66 से 65 फीसदी के ऊपर कट होगा। इसके ऊपर कॉमर्स का कट ऑफ होगा। कॉमर्स के लिए दो हजार छात्रों के आवेदन आ चुके हैं।
बताया जा रहा है कि 70 फीसदी के आसपास इसका कट ऑफ होने की संभावना है। वहीं मनोविज्ञान, जूलॉजी, भूगोल में एडमिशन के लिए भी छात्रों को मशक्कत करनी होगी।
पीजी में नामांकन
● विज्ञान विषय की मेरिट लिस्ट होगी सकती सबसे अधिक
• इतिहास में सबसे अधिक 2200 छात्रों के आए आवेदन
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